
मदरसा में बच्चे नगी होंगे तो होगी मान्यता प्रत्याहरण की कार्यवाही
यूपी(संजय कुमार तिवारी): बलिया से है जहां बलिया के गड़वार ब्लॉक अंतर्गत नूरूपुर गांव में बना मदरसा फैजान नूरुपुर की स्थिति बद से बत्तर हो गई है मदरसा प्रांगण में साफ सफाई नहीं है और नही मदरसे पढ़ने वाले बच्चे दिखाई दे रहे है। मदरसा में पढ़ाई के दौरान एक भी बच्चे नहीं है और ब्लैक बोर्ड अध्यापकों के द्वारा पढ़ाई गई विषय भी दिखाई नही दे रहा है।मदरसा के अंदर वैसे ही समान बिखरा पड़ा है।अगर मदरसा में पढ़ाई होती तो ऐसे ही समान बिखरा पड़ा नही होता। या होती मदरसा की साफ सफाई।मदरसा में पढ़ाई के नाम पर खानापूर्ति की जा रही है।
मदरसा में पढ़ाई के दौरान एक ही अध्यापक दिखाई दे रहे है और जो भी अध्यापक है वह दिखाई नही दे रहे है।ऐसे में सवाल उठता है की पढ़ाई के दौरान अध्यापक कहा चले जाते है विद्यालय को छोड़कर।या विद्यालय से बाहर जाने से पहले पत्र व्यवहार पर लिखित दी जाती है या नही ।वही जब विज्ञान अध्यापक अब्बू जफर खां से बात की गई तो उनका कहना है कि यहां पर तीन अध्यापक और 79 बच्चे हैं इस मदरसा में । मदरसा में सुबह छः बजे नौ बजे तक की पढ़ाई होती है उसके बाद बच्चो को खाने के लिए छोड़ दिया जाता है और फिर दस बजे आते है । पढ़ाई के दौरान बच्चो को ब्लैक बोर्ड कुछ पढ़ाया नही गाय है।
ब्लैक बोर्ड खाली दिखाई दे रहा है।तो मास्टर साहब बिलबिला गए और कहने लगे कि आप मीडिया वाले है आप कुछ भी लिख देंगे।जब अल्पसंख्या अधिकारी आशुतोष पाण्डेय से मदरसा फैजान नूरपुर के बारे में जानकारी दी गई तो उनका कहना है की किसी भी मदरसा में सुबह छः बजे से नौ बजे तक का पाठ्यक्रम नही है। क्योंकि मदरसा बोर्ड का एक निर्धारित कार्यक्रम है और निर्धारित टाइम टेबल है विद्यालय दो बजे से पहले बंद नहीं हो सकता। नौ बजे तक विद्यालय बंद नही हो सकता। इस तरह की जहां भी स्थिति है जहां बच्चे नहीं है और यह बहाना लिया जा रहा है कि समय से पहले बंद कर दिया जा रहा है हकीकत वहां बच्चे नहीं है।
ऐसे मदरसों को चिन्हित करके मान्यता प्रत्याहरण की कार्यवाही की जायेगी। 79 बच्चे पंजीकृत किए होंगे।लेकिन रेगुलर पढ़ने वाले बच्चे कितने है उनके पोर्टल पर कितनी ग्रीडिंग बच्चे कितनी है वह वाकई 79 है या उससे कम है। को रेगुलर आ रहे होंगे उनकी ही फीडिंग हो रही होंगी। जिसका संज्ञान आ रहा है उसको गंभीरता से लिया जा रहा है और कड़ी से कड़ी कार्यवाही की जा रही है।जो भी इस तरह की लापरवाही बरती जा रही है की बच्चे नहीं है फिर भी मदरसे को संचालित किया जा रहा है।जो भी अध्यापक का मानदेय जा रहा है।तो उनका मानदेय रोका जाएगा और मान्यता प्रत्याहरण की कार्यवाही भी की जायेगी।
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