मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ईडी कार्यालय में हाजिर हों

झारखण्ड(खौफ 24): मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन की मुश्किलें बढ़ गई हैं। प्रवर्तन निदेशानय यानी ईडी ने मुख्यमंत्री को पूछताछ के लिए 17 नवंबर 2022 को तलब किया है। ईडी ने मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन को समन किया है।प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) सीएम को दूसरा समन भेजा है।जानकारी के अनुसार ईडी ने ताकीद की है कि पूछताछ के लिए राँची क्षेत्रीय कार्यालय में मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन हर हाल में उपस्थित हों, ऐसा नहीं करने पर उनके खिलाफ कार्रवाई हो सकती है। ईडी ने यह भी कहा है कि *ईडी का फरमान; 17 तारीख को मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ईडी कार्यालय में हाजिर हों मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन की मुश्किलें बढ़ गई हैं। प्रवर्तन निदेशानय यानी ईडी ने मुख्यमंत्री को पूछताछ के लिए 17 नवंबर 2022 को तलब किया है। ईडी ने मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन को समन किया है।प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) सीएम को दूसरा समन भेजा है।जानकारी के अनुसार ईडी ने ताकीद की है कि पूछताछ के लिए राँची क्षेत्रीय कार्यालय में मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन हर हाल में उपस्थित हों, ऐसा नहीं करने पर उनके खिलाफ कार्रवाई हो सकती है।

ईडी ने यह भी कहा है कि मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन के खिलाफ कार्रवाई के लिए उसे किसी से अनुमति लेने की आवश्यकता नहीं है।मालूम हो कि कुछ दिन पहले भी प्रवर्तन निदेशालय यानी ईडी ने मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन को समन जारी किया था। उन्हें पूछताछ के लिए हाजिर होने को कहा था, लेकिन मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने संदेशवाहक के माध्यम से ईडी कार्यालय को यह सूचना भेज दी कि उन्हें रायपुर में आयोजित आदिवासी महोत्सव में शामिल होने जाना है। इसके उन्होंने ईडी से तीन-चार हफ्ते का समय मांगा था। उस समय ईडी की ओर से कोई जवाब नहीं दिया गया था। आज बुधवार को ईडी ने पुन: मुख्यमंत्री को समन जारी कर 17 नवंबर को हाजिर होने के लिए कहा है। ईडी का यह दूसरा समन है।प्रवर्तन निदेशालय ने इस बार भेजे गए समन में साफ तौर पर कहा है कि अगर मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ईडी के समक्ष हाजिर नहीं होते हैं तो उसे कार्रवाई करने के लिए किसी से अनुमति लेने की जरूरत नहीं होगी। ईडी के इस बयान से ऐसा लग रहा कि हाजिर नहीं होने पर गिरफ्तारी भी हो सकती है।बता दें पिछली बार मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने ईडी के समन के बाद कहा था कि समन क्यों जारी करते हो, अगर उन्होंने गलती की है तो सीधे गिरफ्तार क्यों नहीं करते। ईडी के समन के बाद झारखण्ड में जमकर सियासी बवाल हुआ था। सत्ताधारी झामुमो और कांग्रेस के विधायकों ने राजभवन पर धरना भी दिया था। मुख्यमंत्री और उनकी पार्टी के विधायकों ने झारखण्ड के राज्यपाल पर भी जमकर निशाना साधा था।

Advertisements
SHYAM JWELLERS

मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन के खिलाफ कार्रवाई के लिए उसे किसी से अनुमति लेने की आवश्यकता नहीं है।मालूम हो कि कुछ दिन पहले भी प्रवर्तन निदेशालय यानी ईडी ने मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन को समन जारी किया था। उन्हें पूछताछ के लिए हाजिर होने को कहा था, लेकिन मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने संदेशवाहक के माध्यम से ईडी कार्यालय को यह सूचना भेज दी कि उन्हें रायपुर में आयोजित आदिवासी महोत्सव में शामिल होने जाना है। इसके उन्होंने ईडी से तीन-चार हफ्ते का समय मांगा था। उस समय ईडी की ओर से कोई जवाब नहीं दिया गया था। आज बुधवार को ईडी ने पुन: मुख्यमंत्री को समन जारी कर 17 नवंबर को हाजिर होने के लिए कहा है। ईडी का यह दूसरा समन है।प्रवर्तन निदेशालय ने इस बार भेजे गए समन में साफ तौर पर कहा है कि अगर मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ईडी के समक्ष हाजिर नहीं होते हैं तो उसे कार्रवाई करने के लिए किसी से अनुमति लेने की जरूरत नहीं होगी। ईडी के इस बयान से ऐसा लग रहा कि हाजिर नहीं होने पर गिरफ्तारी भी हो सकती है।बता दें पिछली बार मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने ईडी के समन के बाद कहा था कि समन क्यों जारी करते हो, अगर उन्होंने गलती की है तो सीधे गिरफ्तार क्यों नहीं करते। ईडी के समन के बाद झारखण्ड में जमकर सियासी बवाल हुआ था। सत्ताधारी झामुमो और कांग्रेस के विधायकों ने राजभवन पर धरना भी दिया था। मुख्यमंत्री और उनकी पार्टी के विधायकों ने झारखण्ड के राज्यपाल पर भी जमकर निशाना साधा था।

Даркнет Сайт Кракен Зеркало Ссылка

slot zeus colombia88 macau999