
श्वेता निधि ने सफलता के नए कीर्तिमान किया स्थापित
मधेपुरा, (खौफ 24) भूपेंद्र नारायण मंडल विश्वविद्यालय (बीएनएमयू) के पूर्व कला एवं वाणिज्य महाविद्यालय निरीक्षक प्रो. गोपाल प्रसाद सिंह और प्रो मिनी सिंह की सुपुत्री श्वेता निधि ने बिहार लोक सेवा आयोग द्वारा आयोजित परीक्षा में कृषि पदाधिकारी के रूप में शानदार सफलता हासिल की है। यह सफलता श्वेता के कठिन परिश्रम, समर्पण और मानसिक दृढ़ता का परिणाम है, जिसने न केवल उनके परिवार को गौरवान्वित किया, बल्कि पूरे समाज को भी प्रेरणा दी है।
श्वेता निधि ने अपनी सफलता का श्रेय अपनी बड़ी बहन डॉ नम्रता निधि को दिया, जो आईजीएमएस पटना में चिकित्सक हैं। श्वेता का कहना था कि उनकी बहन डॉ नम्रता निधि के प्रेरणादायक मार्गदर्शन और हौसले से ही वह इस मुकाम तक पहुंच पाई हैं। डॉ नम्रता निधि की प्रेरणा और संघर्ष की कहानी ने श्वेता को आगे बढ़ने की ऊर्जा दी और उनका मार्गदर्शन श्वेता के जीवन में महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहा था।
8 फरवरी 2025 को पटना स्थित ऊर्जा ऑडिटोरियम में आयोजित एक भव्य समारोह में बिहार कृषि विभाग द्वारा श्वेता निधि को कृषि पदाधिकारी के रूप में नियुक्ति पत्र माननीय मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के हाथों प्रदान किया गया। इस ऐतिहासिक अवसर पर श्वेता ने अपनी सफलता को अपने परिवार, विशेष रूप से अपनी बहन डॉ नम्रता निधि और माता-पिता गोपाल प्रसाद सिंह और प्रो मिनी सिंह को समर्पित किया।
उनकी इस सफलता पर सामाजिक, राजनीतिक और शिक्षा क्षेत्र से जुड़े कई प्रतिष्ठित व्यक्तियों ने बधाई दी है। बधाई देने वालों में बिहार विधानसभा उपाध्यक्ष नरेंद्र नारायण यादव, बिहार विधान परिषद सदस्य संजीव कुमार सिंह, अजय कुमार सिंह, पूर्व मंत्री और पूर्व सांसद रेणु कुशवाहा, पूर्व मंत्री रविंद्र चरण यादव, पूर्व विधायक किशोर कुमार, भाजपा नेता अखिलेश सिंह उर्फ नुनु बाबू, प्रो पूजा भारती, प्राचार्य रविंद्र कुमार रमन, बिजय कुमार सिंह, पूर्व प्रमुख जयप्रकाश सिंह, इंटक जिला अध्यक्ष संजय कुमार सिंह, हाजी अब्दुस सत्तार, डॉ डीके सिन्हा, इन्द्र भुषण कुमार, एस के संत, एके मिश्रा, मिथिलेश कुमार, बिबेक भारती, अर्जून कुमार, संतोष कुमार, गोतम प्रकाश, संदीप कुमार सोनू, मुखिया कुंदन सिंह, पूर्व मुखिया रजनीश कुमार बबलू, सुमन कुमार सिंह, मुकुल भारती, चितरंजन कुमार सिंह, हेमंत कुमार, अमिताभ कुमार सिंह, प्रभात कुमार सिंह उर्फ गुड्डू बाबू सहित सैकड़ों गणमान्य लोग शामिल थे।
श्वेता निधि की यह सफलता उनके परिवार और समाज के लिए प्रेरणा का स्रोत बन गई है। उन्होंने साबित किया कि अगर बेटियों को उचित मार्गदर्शन और प्रोत्साहन मिले, तो वे किसी भी क्षेत्र में सफल हो सकती हैं। उनकी यह उपलब्धि महिलाओं के सशक्तिकरण की दिशा में एक मजबूत कदम है और यह समाज को यह सिखाती है कि महिलाओं को शिक्षा और अवसर मिलें, तो वे किसी भी लक्ष्य को प्राप्त कर सकती हैं।
श्वेता की सफलता ने यह दिखा दिया कि अगर ठान लिया जाए और निरंतर प्रयास किया जाए तो कोई भी कठिनाई या चुनौती बड़ी नहीं होती। उनकी यात्रा आने वाली पीढ़ियों के लिए प्रेरणा का काम करेगी।